सोने और चांदी की कीमतों में तेज़ी पिछले सप्ताह भी जारो रही। घरेलु वायदा बाजार में सोना पिछले सप्ताह 400 रुपये तेज़ हो कर 47600 रुपये प्रति दस ग्राम के स्तरों पर कारोबार किया। जबकि चांदी के भाव 2300 रुपये तेज़ हुए जिससे कीमते 65500 रुपये प्रति किलो पर पहुंच गई।
विश्व बैंक ने गुरुवार को अपने नवीनतम कमोडिटी मार्केट आउटलुक में कहा कि ऊर्जा संसाधनों की कीमतें 2021 में 80 प्रतिशत से अधिक बढ़ी जिसके कारण कई विकासशील देशों में निकट अवधि के लिए वैश्विक मुद्रास्फीति का जोखिम बढ़ गया है।
बहुपक्षीय विकास बैंक के अनुमान के मुताबिक साल 2022 की दूसरी छमाही में ऊर्जा की कीमतों में गिरावट शुरू हो सकती है क्योंकि आपूर्ति संकट कम हो जायेगा, साथ ही कृषि और औद्योगिक धातुओं की कीमतों में भी गिरावट होगी जिनकी कीमते 2021 में काफी उचे स्तरों पर पहुंच चुकी है।
उच्च खाद्य कीमतें भी खाद्य-मूल्य मुद्रास्फीति को बढ़ा रही है और कई विकासशील देशों में खाद्य सुरक्षा के बारे में सवाल उठने लगे है। जिससे कीमती धातुए जो मुद्रास्फीति से सुरक्षा का बेहतर विकल्प है, की मांग मजबूत है।
दुनिया की प्रमुख केंद्रीय बैंको द्वारा कोवीड -19 का असर कम होने पर एसेट टेपरिंग पर विचार शुरू कर दिया है लेकिन, आपूर्ति में बाधा रहने से औद्योगिक उत्पादन घटने लगा है जिससे डॉलर जो सोने के विपरीत दिशा में चलता है, में पिछले सप्ताह गिरावट रही है और सोने के भाव में तेज़ी है। खुदरा मांग मजबूत रहने से भी कीमती धातुओं के भाव में तेज़ी है।
तकनीकी विश्लेषण
घरेलु सराफा बाज़ारो में दिवाली के पहले सोने और चांदी की खुदरा मांग बढ़ने की सम्भावना है जिससे इनके भाव में तेज़ी रह सकती है। घरेलु वायदा सोने में 47200 रुपये पर सपोर्ट है और 48000 रुपये पर प्रतिरोध है। चांदी वायदा में 63700 रुपये पर सपोर्ट और 66000 रुपये पर प्रतिरोध है।